MP Lok Sabha Election Phase 3: दिग्विजय, शिवराज और ज्योतिरादित्य का राजनीतिक भविष्य होगा तय

मध्य प्रदेश की मोहन यादव सरकार के मंत्रियों के अलावा भाजपा के प्रमुख पदाधिकारी अलग-अलग विधानसभाओं में मोर्चा संभाले हुए हैं।

By Prashant Pandey Edited By: Prashant Pandey Publish Date: Sat, 27 Apr 2024 03:40 PM (IST) Updated Date: Sat, 27 Apr 2024 04:16 PM (IST

HighLights

  1. 33 वर्ष बाद राजगढ़ संसदीय सीट से एकबार फिर दिग्विजय सिंह चुनाव मैदान में हैं।
  2. विदिशा लोकसभा सीट से 20 वर्ष बाद पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भी चुनाव मैदान में।
  3. गुना-शिवपुरी लोकसभा सीट पर इस बार तस्वीर बदली हुई है।

Madhya Pradesh Lok Sabha Election 2024: राज्य ब्यूरो, नईदुनिया, भोपाल। दूसरे चरण के मतदान के बाद अब तीसरे चरण का चुनाव जोर पकड़ेगा। इस चरण में प्रदेश के दो पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह और शिवराज सिंह चौहान के साथ केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के राजनीतिक भविष्य का निर्णय होगा। राजगढ़ में कांग्रेस प्रत्याशी दिग्विजय सिंह की घेराबंदी करने के लिए भाजपा पूरी ताकत झोंक रही है। यहां केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की सभा हो जा चुकी है।

प्रदेश की मोहन यादव सरकार के मंत्रियों के अलावा भाजपा के प्रमुख पदाधिकारी अलग-अलग विधानसभाओं में मोर्चा संभाले हुए हैं। विदिशा से भाजपा प्रत्याशी पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान जन आशीर्वाद यात्रा निकाल रहे हैं तो गुना से भाजपा प्रत्याशी ज्योतिरादित्य सिंधिया के पक्ष में गृह मंत्री अमित शाह सभा कर चुके हैं। कांग्रेस के नेता भी ग्वालियर-चंबल अंचल में सक्रिय हैं। पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी 30 अप्रैल को भिंड में सभा करेंगे और दो मई को प्रियंका गांधी वाड्रा मुरैना में सभा करने आएंगी।

राजगढ़ लोकसभा  सीट

लगभग 33 वर्ष बाद राजगढ़ संसदीय सीट से एकबार फिर दिग्विजय सिंह चुनाव मैदान में हैं। संसदीय क्षेत्र की आठों विधानसभाओं में दिग्विजय ने पदयात्रा कर पुराने संबंधों को ताजा कर लिया है। इधर लगातार दो बार के सांसद रोडमल नागर भी जनता के बीच हैं।

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नागर की अपनी उपलब्धियां तो कुछ हैं नहीं इसलिए राष्ट्रवाद और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में देश को आगे बढ़ाने के नाम पर वोट मांग रहे हैं। हालांकि रोडमल नागर की राह को दिग्विजय ने कठिन बना दिया है। सिंह के मैदान में उतरने से कांग्रेस कार्यकर्ताओं में उत्साह भी है।

विदिशा लोकसभा सीट

विदिशा लोकसभा सीट से 20 वर्ष बाद पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भी चुनाव मैदान में हैं। वे प्रतिदिन अपने क्षेत्र में जन आशीर्वाद यात्रा, नुक्कड़ सभाओं और रोड शो के जरिए मतदाताओं से संपर्क साध रहे हैं। जब प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि मैं शिवराज को अब दिल्ली ले जा रहा हूं, तब से शिवराज काफी खुश नजर आ रहे हैं।

शिवराज इस सीट पर वर्ष 1991 में सबसे पहले चुनाव लड़कर लोकसभा में पहुंचे थे। यह सीट उन्हें पूर्व प्रधानमंत्री स्व. अटल बिहारी वाजपेयी के इस्तीफे के बाद मिली थी। वर्ष 1991 से लेकर 2005 तक वे लगातार पांच बार इसी संसदीय क्षेत्र से सांसद बनते रहे। यहां पांव-पांव वाले भैया के रूप में बनी उनकी छवि बनी हुइ है।

पिछले चुनाव में जब सुषमा स्वराज का स्वास्थ्य खराब होने के कारण टिकट बदलने की बात आई तो शिवराज के करीबी रमाकांत भार्गव को मौका मिला और उन्होंने भी पांच लाख से अधिक मतों से जीत हासिल की थी। इस बार शिवराज के खिलाफ कांग्रेस ने पूर्व सांसद प्रतापभानू शर्मा को मैदान में उतारा है।

गुना-शिवपुरी लोकसभा सीट

गुना-शिवपुरी लोकसभा सीट पर इस बार तस्वीर बदली हुई है। हमेशा की तरह सिंधिया परिवार प्रत्याशी तो हैं लेकिन कांग्रेस से होकर भाजपा से हैं।यहां भाजपा और कांग्रेस के बीच ही सीधा मुकाबला रहा है। भाजपा ने यहां के सांसद डा. केपी यादव का टिकट काटकर ज्योतिरादित्य सिंधिया को उनकी पारंपरिक सीट से उतारा है। हालांकि पिछले चुनाव में केपी यादव ने सिंधिया को ही हराया था, तब सिंधिया कांग्रेस प्रत्याशी थे।

वहीं कांग्रेस ने पिछले चुनाव की भाजपा की रणनीति को ही अपनाते हुए यादव प्रत्याशी को टिकट देकर मुकाबले को रोचक बना दिया है। कांग्रेस प्रत्याशी यादवेंद्र सिंह अशोकनगर जिले से ही हैं जहां पर यादव वोटरों की संख्या सबसे अधिक है। शुक्रवार को ही यहां केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह भी सिंधिया के प्रचार में आए थे।

मुख्यमंत्री मोहन यादव भी कई बार यहां प्रचार कर चुके हैं। सिंधिया की मौजूदगी के कारण यह चुनाव देशभर में चर्चा में है। तीसरे चरण में सात मई को नौ सीटों पर मतदान होना है। इनमें विदिशा, राजगढ़, गुना-शिवपुरी के अलावा ग्वालियर, भिंड, मुरैना, बैतूल, भोपाल और सागर सीट पर सात मई को मतदान होगा।


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