70 साल के सफर पर बदलेगा मध्यप्रदेश का नक्शा: नया संभाग और तीन जिले बनने की तैयारी, भोपाल में बढ़ेंगी तहसीलें

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, भोपाल Published by: आनंद पवार Updated Sun, 02 Nov 2025 10:41 AM ISTrs

मध्यप्रदेश अपने 70वें स्थापना दिवस पर एक नए प्रशासनिक दौर में कदम रख रहा है। प्रदेश में तीन नए जिले और एक नया संभाग बनाने की तैयारी शुरू हो गई है। साथ ही राजधानी भोपाल में पांच नई तहसीलें जोड़ने की योजना पर काम चल रहा है। इस बदलाव से प्रशासनिक कामकाज और लोगों तक सरकारी सेवाएं पहुंचाना आसान होगा। 

Madhya Pradesh's map will change after 70 years: Preparations underway to create a new division and three dist

भोपाल - फोटो : अमर उ
 
मध्यप्रदेश अपने 70वें स्थापना दिवस पर एक नए प्रशासनिक युग में प्रवेश करने जा रहा है। प्रदेश का भौगोलिक और प्रशासनिक नक्शा जल्द ही बदल सकता है। प्रदेश में तीन नए जिले और एक नया संभाग बनाने की मांग तेज हो रही है। इस पर राज्य सरकार की तरफ से भी काम शुरू हो गया है। इस बदलाव के साथ कई जिलों की सीमाएं नए सिरे से तय होंगी और राजधानी भोपाल में पांच नई तहसीलें जोड़ी जाएंगी। सूत्रों के अनुसार, सरकार इंदौर संभाग से खंडवा, खरगोन और बुरहानपुर को अलग कर नया संभाग बनाने पर गंभीरता से विचार कर रही है। इस निर्णय से न केवल प्रशासनिक ढांचा मजबूत होगा, बल्कि निमाड़ अंचल के विकास को भी नई गति मिलेगी। वहीं, भोपाल में हर विधानसभा क्षेत्र को एक-एक तहसील का स्वरूप देने की योजना है, जिससे जिले में कुल आठ तहसीलें हो सकती है। 
यह पूरी प्रक्रिया पिछले वर्ष गठित राज्य प्रशासनिक पुनर्गठन आयोग की देखरेख में हो रही है। आयोग का लक्ष्य जल्द से जल्द सीमांकन का काम पूरा करना है, क्योंकि जनगणना से पहले प्रशासनिक इकाइयों की सीमाएं तय करनी अनिवार्य हैं। आयोग अब तक दो दर्जन से अधिक जिलों में मैदानी कार्य पूरा कर चुका है और शेष जिलों में सर्वे का कार्य जारी है। आयोग ने सीमाओं को साइंटिफिक तरीके से और सटीक बनाने के लिए इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन (IIPA) से तकनीकी सहयोग लिया है। ड्रोन और सैटेलाइट सर्वे की मदद से सटीक सीमांकन तैयार किया जाएगा। बाद में नागरिकों और जनप्रतिनिधियों से प्राप्त सुझावों को मिलाकर सरकार को अंतिम रिपोर्ट सौंपी जाएगी।                                                        भोपाल में प्रशासनिक पुनर्गठन की झलक
वर्तमान में जिले में तीन तहसीलें हुजूर, बैरसिया और कोलार हैं। अब इनके साथ टीटी नगर, एमपी नगर, गोविंदपुरा, संत हिरदाराम नगर (बैरागढ़) और पुराना भोपाल को तहसील का दर्जा देने की योजना है। नई तहसीलों के गठन से आम नागरिकों को राजस्व, नामांतरण और प्रमाणपत्र संबंधी कार्यों के लिए दूर नहीं जाना पड़ेगा।
मध्य प्रदेश में जिलों की संख्या 55 पहुंची 
प्रदेश के गठन से लेकर अब तक मध्यप्रदेश में 45 से बढ़कर 55 जिले बन चुके हैं। हालांकि छत्तीसगढ़ के अलग होने से पहले वर्ष 2000 में प्रदेश में जिलों की संख्या 61 थी। अब एक बार फिर मध्य प्रदेश इस आकड़े की तरफ बढ़ने की तैयारी में है। यह पुनर्गठन केवल प्रशासनिक सुधार नहीं, बल्कि 70 वर्षों के विकास सफर का अगला अध्याय माना जा रहा है। जहां मध्यप्रदेश अपने नए स्वरूप में एक और मजबूत कदम बढ़ाने जा रहा है।

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