प्रदेश में 22 स्थानों पर एक साथ मनाया जाएगा भगवान राम का जन्मदिन

क्षेत्रीय कलाकार सुनाएंगे रामकथा,
भोपाल। वनवास के समय भगवान राम जिन रास्तों पर चले थे, उनको राम वन गमन पथ के रूप में विकसित किया जा रहा है। इनमें से प्रदेश के 22 स्थानों पर पहली बार एक साथ भगवान राम का जन्मदिन मनाया जाएगा। इस आयोजन में क्षेत्रीय कलाकार राम कथा गाएंगे।
जनजातीय संग्रहालय विभाग द्वारा कराए जा रहे इस कार्यक्रम के माध्यम से राम वन गमन पथ को लेकर वनांचल में रहने वाले आदिवासियों की रुचि और कठिनाइयों को भी चिन्हित किया जाएगा। इन विशेष स्थानों में से उमरिया जिले में मौजूद एक स्थान पर वन विभाग द्वारा अनुमति न दिए जाने से आयोजन नहीं होगा।
दरअसल, प्रदेश सरकार ने 6 अप्रैल को राम प्राकट्य उत्सव मनाने का निर्णय लिया है। इस निर्णय के अनुसार संस्कृति विभाग जहां छह स्थानों पर बड़े आयोजन करा रहा है, वहीं जन जातीय संग्रहालय विभाग गांवों में जाकर कार्यक्रम करेगा। जनजातीय विभाग द्वारा राम वन गमन पथ को लेकर पहली बार आयोजन कराए जाएंगे। 22 जगहों पर सुबह 10 बजे से एक साथ लोक गायिकी प्रस्तुतियां शुरू होंगीं। भगवान राम से जुड़ी आस्था के क्षेत्र में यह आयोजन पहली बार हो रहा है। पूरी तरह से भक्ति गायन पर आधारित इस आयोजन में पर्यटक आदिवासियों द्वारा सामान्य तौर पर गाए जाने वाले भजनों को उन्हीं की भाषा में सुन सकेंगे।
इन जिलों में होंगे आयोजन
सतना जिले में  चित्रकूट क्षेत्र में स्फटिक शिला-मंदाकिनी, गुप्त गोदावरी, सती अनुसुइया-अत्रि आश्रम, शरभंग आश्रम, अश्वमुनि आश्रम, सुतीक्ष्ण मुनि आश्रम-सिलहा, सिद्ध पहाड़-सिद्धा, सीता रसोई, रामसेल-रक्सेलवा गांव। पन्ना जिले में बृहस्पति कुंड-पहाड़ी खेरा, सुतीक्ष्ण आश्रम सारंगधर, अग्निजिह्वा आश्रम-बड़ेगांव मीढ़ासन, अगस्त्य आश्रम-सलेहा (सिलेहा), कटनी  जिले में शिव मंदिर-भरभरा (शिल्परा), जबलपुर जिले में रामघाट-पिपरिया (नर्मदा) नर्मदापुरम जिले में श्री राम मंदिर पासी घाट, श्री राम मंदिर माच्छा, उमरिया जिले में मार्केण्डेय आश्रम-दरबार (सोनभद्र), दशरथ घाट, विजौरी, सोनभद्र शहडोल जिले में सीता मढ़ी, गंधिया और अनूपपुर जिले में सीतामढ़ी कनवाई (बरनी) आयोजित किए जाएंगे।

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